रायपुर | छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी की बुधवार को हुई एक महत्वपूर्ण बैठक में विधायक अमित जोगी को छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया गया। जबकि उनके पिता अजीत जोगी के निष्कासन का प्रस्ताव पारित किया गया है, जिसे एआईसीसी को भेजा जाएगा। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के इस फैसले के बाद अमित जोगी के समर्थकों में जहां निराशा है, वहीं कई नेताओं ने खुल कर इस फैसले पर आपत्ति जताई है।
कांग्रेस विधायक सियाराम कौशिक ने इस फैसले को दुर्भाग्यपूर्ण बताया है, और उन्होंने कहा कि यह अंतिम फैसला नहीं है। इस बीच सूत्रों ने कहा कि कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष भूपेश बघेल और नेता प्रतिपक्ष टी.एस. सिंघदेव दिल्ली रवाना हो गए हैं। अमित ने निष्कासन के बाद अपनी पहली प्रतिक्रिया में कहा, “कांग्रेस किसी की बपौती नहीं है। वह इस फैसले के खिलाफ एआईसीसी में अपील करेंगे। इसके लिए उनके पास तीन सप्ताह का समय है।”
उन्होंने कहा, “मैं इस निर्णय से आहत हूं। सामंती और जमींदारी प्रथा के लोगों की जीत हुई है, जबकि दलित, शोषित, पीड़ित आदिवासी हार गया। बिना आरोप जांचे, पुष्टि और प्रमाण के यह निर्णय दोषपूर्ण और अन्यायपूर्ण है। मैं पूरी ताकत से गरीबों की आवाज उठाता रहूंगा। हमारे पास अपील करने का अधिकार है। मुझे कांग्रेस हाईकमान, विशेष कर सोनिया गांधी और राहुल गांधी पर पूरा विश्वास है कि मुझे न्याय मिलेगा। पीसीसी का निर्णय नैसर्गिक न्याय के खिलाफ है।” उल्लेखनीय है कि अंतागढ़ टेपकांड के बाद से ही जोगी के खिलाफ कार्रवाई के कयास लगाए जा रहे थे। इस लिहाज से बुधवार की बैठक पर सबकी नजर टिकी हुई थी।
बैठक के बाद प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष बघेल ने अपराह्न् ढाई बजे बाद मीडिया को निर्णय की जानकारी दी। उन्होंने कहा, “अजीत जोगी के बर्ताव से पार्टी की छवि को क्षति हुई है। उन्हें छह साल के लिए निष्कासित करने की अनुशंसा एआईसीसी से की गई है। विधायक अमित के बर्ताव से भी पार्टी को नुकसान हुआ है, इसलिए उन्हें छह साल के लिए निष्कासित किया गया है।” उन्होंने कहा कि बैठक में टेपकांड मामले से जुड़े पहलुओं और इसमें अमित की ओर से मिले जवाब पर विस्तृत चर्चा की गई।
बघेल ने कहा कि चूंकि अजीत जोगी अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सदस्य हैं, लिहाजा उनके निष्कासन की अनुशंसा ही की गई है। बघेल ने बताया कि वह नेता प्रतिपक्ष टी.एस. सिंह देव और वरिष्ठ नेताओं के साथ दिल्ली जाकर पार्टी उपाध्यक्ष राहुल गांधी को इस निर्णय की जानकारी देंगे।
बघेल ने कहा कि पीसीसी की बैठक में मुख्यमंत्री रमन सिंह की निंदा करते हुए उनके इस्तीफे की मांग का प्रस्ताव भी पारित किया गया है। नेता प्रतिपक्ष टी.एस. सिंहदेव ने कहा कि उन्हें टेप के बारे में कोई शक नहीं है। गांधी मैदान कांग्रेस भवन में इस निर्णय की घोषणा के बाद कार्यालय के बाहर कतिपय कांग्रेसियों ने आतिशबाजी और नारेबाजी की।
अमित मरवाही से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव जीते हैं। उनके निष्कासन और पिता के निष्कासन की अनुशंसा के साथ राज्य की राजनीति में उबाल आ गया है।पीसीसी के इस निर्णय पर अजीत जोगी समर्थक युवक कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष योगेश तिवारी ने कहा कि यह कार्रवाई साजिश के तहत की गई है। बैठक के दौरान कांग्रेस भवन पर एनएसयूआई कार्यकर्ताओं ने प्रदर्शन किया। राज्य की कई जिला इकाइयों ने जोगी पर कार्रवाई की मांग की थी।