नई दिल्ली। धनतेरस और दिवाली पर सोना खरीदना भारत में एक पुरानी परंपरा है। सोना नारी के श्रृंगार में चार चांद तो लगाता ही है, इसके अलावा ये बुरे समय में बहुत काम भी आता है। सोना को भारत में संकट का साथी और दूसरा इंश्योरेंस भी कहा जाता है। इसलिए सोने के प्रति लोगों में खासा लगाव है। अगर आप भी इस धनतेरस और दिवाली सोने की ज्वैलरी या सिक्के खरीदने की योजना बना रहे हैं तो पहले जान लें कि कितना टैक्स चुकाना होगा। आपको यह जानकर हैरानी होगी कि सोने के आभूषण खरीदते और बेचते दोनों वक्त टैक्स लगता है।
सोने की ज्वैलरी पर टैक्स के नियम
सोने पर लांग टर्म कैपिटल गेंस (LTCG) और शॉर्ट टर्म कैपिटल गेंस (STCG) देना होता है। बजट 2024 ने सोने पर LTCG को 20% से घटाकर 12.5% कर दिया है। इसलिए अगर आप दो साल तक सोने को रखने के बाद उसे बेचते हैं, तो लाभ पर 12.5% LTCG टैक्स देना होगा। हालांकि, बजट 2024 ने सोने के निवेश पर इंडेक्सेशन को हटा दिया है। इसलिए अब आपको LTCG पर लागू होने वाले इंडेक्सेशन लाभ नहीं मिलेंगे। बजट 2024 के बाद भौतिक सोने के लिए, STCG के लिए होल्डिंग अवधि तीन साल से घटाकर दो साल कर दी गई है।
सोने के जेवर बेचते वक्त
सोने के जेवर बेचते वक्त लगने वाले टैक्स का आधार यह होता है कि आपने कितने समय तक उसे अपने पास रखा। इसे बेचते वक्त टैक्स शॉर्ट टर्म कैपिटल गेंस या लॉन्ट टर्म कैपिटल गेंस के आधार पर लगाया जाता है।