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रिलायंस का बड़ा बयान, कहा- हमने कांट्रैक्ट फार्मिंग या कारपोरेट फार्मिंग का कोई कांट्रैक्ट नहीं किया

नई दिल्ली। मुकेश अंबानी की कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज ने किसान आंदोलन के बीच खुद का नाम घसीटे जाने और पंजाब-हरियाणा में जियो के टावरों में तोड़फोड़ को लेकर बयान जारी किया है। रिलायंस ने अपने बयान में लिखा है, हमने कांट्रैक्ट फार्मिंग या कारपोरेट फार्मिंग का कोई कांट्रैक्ट नहीं किया है और भविष्य में इस व्यवसाय में प्रवेश करने की कोई योजना नहीं है। ना तो रिलायंस और ना ही हमारी किसी भी सहायक कंपनी ने कोई कृषि भूमि खरीदी है।

भारत में रिटेल चेन में रिलायंस रिटेल एक बड़ी कंपनी है, लेकिन हम किसानों से सीधे अनाज नहीं खरीदते, हम सप्लायर के माध्यम से खरीददारी करते हैं और हमारे सप्लायर एमएसपी पर ही किसानों से अनाज खरीदते हैं। इसलिए रिलायंस और इसके सहयोगी पूरी तरह से भारतीय किसानों की आकांक्षा का समर्थन करते हैं।

कंपनी ने कहा, ‘वास्तव में हम न्यूनतम समर्थन मूल्य का सख्ती से पालन करने के लिए अपने आपूर्तिकर्ताओं पर जोर देंगे। रिलायंस भारतीय किसानों के हितों को चोट पहुंचाने की सोच भी नहीं सकती है। हमारी कंपनी जियो के 4जी नेटवर्क ने हर एक गांव को विश्वस्तरीय डेटा कनेक्टिविटी प्रदान की है। दुनिया में कहीं भी सबसे सस्ती दरों पर भारत इस प्रकार का लाभ पा रहा है। करोड़ों भारतीय किसानों को डिजिटल क्रांति से मात्र चार वर्षों में जियो ने जोड़ दिया है।’

अपने बयान में कंपनी ने आगे कहा, ‘कोविड संकट के समय जियो ने देश में किसानों, व्यापारियों और उपभोक्ताओं की मदद की है। संकट के समय लोगों को घर से काम करने में सक्षम बनाया है और छात्रों को घर से पढ़ाई करने में मदद की।’

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BRIJESH SINGH
the authorBRIJESH SINGH