कानपुर। उन्नाव कांड में एकमात्र ज़िंदा बची लड़की की हालत में पहले से सुधार है। उसे वेंटिलेटर सपोर्ट से हटा लिया गया है और रविवार को उन्होंने थोड़ा-बहुत खाना भी खाया। नाम लेने पर वह सिर हिलाकर प्रतिक्रिया दे रही है। डीआईजी प्रीतिंदर सिंह ने बताया कि लड़की की हालत में धीरे धीरे सुधार हो रहा है। हालांकि लड़की अभी भी बयान देने के हालत में नहीं है। वह चिकित्सकों की निरंतर देखरेख में हैं और उन्हें हर आवश्यक चिकित्सकीय सुविधा दी जा रही है। काकादेव के इंस्पेक्टर कुंज बिहारी मिश्रा ने कहा, एक बार पूरी तरह से ठीक हो जाने के बाद ही मजिस्ट्रेट के सामने उनका बयान दर्ज किया जाएगा।
बता दें कि आरोपी ने एकतरफा प्यार में इस घटना को अंजाम दिया था। विनय उर्फ लंबू का खेत बच्चियों के पैतृक खेत से सटा हुआ है और अक्सर खेतों में आता था। पुलिस ने बताया कि लॉकडाउन के समय से आरोपी का लड़कियों से परिचय हुआ था। 3 बच्चियों में से 1 के साथ उसकी अच्छी दोस्ती हो गई, उसे इस बच्ची से प्रेम हो गया। विनय ने बच्ची से फोन नंबर माँगा लेकिन बच्ची ने नंबर देने से इंकार किया और प्रेम प्रोपोजल को भी अस्वीकार कर दिया।
उसकी की तरफ से मना किए जाने के बाद लड़के ने गुस्से में आकर इस घटना को अंजाम दिया। उसके घर में उपलब्ध खेती के काम में इस्तेमाल होने वाले कीटनाशक को पानी को बोतल में मिलाकर रखा हुआ था। कुछ नमकीन उसने अपने नाबालिक सहयोगी से मंगवाई थी, लड़कियां भी उस दिन उसी दुकान से नमकीन खरीदी थी। सभी ने मिलकर विनय के साथ मिलकर नमकीन खाया, और उसके बाद विनय ने पानी की बोतल को अपनी दोस्त लड़की को दिया। लड़की की बहनों ने भी पानी पिया, लेकिन विनय उन्हें पानी पीने से मना करने लगा, तीनों लड़कियों ने पानी का सेवन किया। पानी पीने के बाद लड़कियां बेहोश हो गई और उनके मुंह से झाग आने लगा, जिसपर विनय और उसका साथी परेशान हो गए और घबराकर वहां से भाग गए।घटना की जानकारी के बाद मौके पर पुलिस पहुंच थी. तत्काल ही लड़कियों को उपचार के लिए अस्पताल ले जाया गया, जहां दो की मृत्यु हो गई, जबकि तीसरी लड़की इलाज चल रहा है।