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17 लाख की नौकरी के लालच में निशांत ने की देश के साथ गद्दारी..

नई दिल्ली। पाकिस्तानी की खुफिया एजेंसी आईएसआई को ब्रह्मोस की खुफिया जानकारी लीक करने के आरोप में गिरफ्तार किए गए डीआरडीओ के इंजीनियर निशांत अग्रवाल को लेकर रोज़ चौंकाने वाले खुलासे हो रहे हैं। अब पता चला है कि निशांत ने ऐसा कनाडा में तीस हजार डॉलर (17 लाख रुपए) की नौकरी के लिए किया था। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, ब्रह्मोस एयरोस्पेस प्राइवेट लिमिटेड में इंजीनियर निशांत से ब्रह्मोस मिसाइल प्रोजेक्ट में काम करने के दौरान का सैंपल मांगा गया तो उसने तुरंत यह बात मान ली, जिसके चलते सुपरसोनिक मिसाइल से जुड़ी कई महत्वपूर्ण डीटेल्स लीक हो गई।

निशांत फेसबुक पर ‘नेहा शर्मा’ और ‘पूजा रंजन’ नाम से चल रहे दो फर्जी एकाउंट के जरिये पाकिस्तान को ब्रह्मोस की खुफिया जानकारी पहुंचाता था। दोनों की फेसबुक अकाउंट्स पाकिस्तान से चल रहे थे। अधिकारियों ने यह भी दावा किया है कि अग्रवाल बहुत संवेदनशील काम में लगे होने के बावजूद काफी लापरवाह था। इसके चलते वह पाकिस्तानी जासूसी एजेंसी का आसान शिकार बन गया। एटीएस सूत्रों के मुताबिक, निशांत सोशल मीडिया साइट लिंक्डइन के जरिए भी पाकिस्तानियों के संपर्क में था।

आईएसआई द्वारा संचालित दोनों फर्जी फेसबुक अकाउंट्स में से नेहा ने खुद को लंदन का बताया था जबकि पूजा का कहना था कि वह अमेरिका के शिकागो में रहती है। हालांकि सच्चाई यह थी कि दोनों ही फर्जी नामों से अकाउंट इस्लामाबाद से संचालित किए जा रहे थे। इससे पहले निशांत अग्रवाल को नागपुर की सत्र न्यायालय में पेश किया गया। जहां से अदालत ने उसे तीन दिनों की ट्रांजिंट रिमांड पर यूपी एटीएस को सौंप दिया है। उसे सोमवार को जासूसी के आरोप में

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BRIJESH SINGH
the authorBRIJESH SINGH