कोहिमा। नगालैंड की राजधानी कोहिमा में शहरी स्थानीय निकाय (यूएलबी) चुनाव में महिलाओं को 33 फीसदी आरक्षण दिए जाने के विरोध में जारी प्रदर्शन ने हिंसक रूप ले लिया। गुरुवार को आक्रोशित लोगों ने दीमापुर में सीएम का घर फूंक दिया। हजारों लोगों ने सचिवालय की तरफ मार्च किया। नगर पालिका परिषद और जिला कमिश्नर के दफ्तरों को आग लगा दी गई। अन्य सरकारी दफ्तरों में भी तोडफ़ोड़ की गई और वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया।
मंगलवार को नगालैंड के दीमापुर और लोंगलेंग जिलों में पुलिस और भीड़ के बीच हुई झड़पों में दो युवकों की मौत हो गई थी और कई लोग घायल हुए थे। जिसके बाद नगालैंड ट्राइब्स एक्शन समिति (एनटीएसी) और
प्रदर्शनकारियों ने मुख्यमंत्री टी.आर. जेलिआंग और उनके मंत्रियों के इस्तीफे तक दोनों का अंतिम संस्कार करने से इनकार कर दिया। एक फरवरी को नगालैंड में बंद का भी आयोजन किया गया था।
इधर, सरकार ने मोबाइल इंटरनेट सेवा ठप कर दी है और एक फरवरी को होने वाला चुनाव भी रद्द कर दिया था। एनटीएसी के प्रवक्ता ने बताया कि सरकार के समक्ष मुद्दे को उठाने के लिए ही समिति का गठन किया गया है।
एनटीएसी ने कहा कि स्थिति इसलिए हिंसक हो गई है क्योंकि मुख्यमंत्री और उनकी कैबिनेट ने शहरी स्थानीय निकायों के चुनावों को टालने के लोगों की लोकतांत्रिक मांगों के खिलाफ जाने का फैसला किया।