नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह सोमवार को लोकसभा में जम्मू-कश्मीर आरक्षण संशोधन वधेयक पेश करेंगे। पिछले महीने हुए लोकसभा चुनावों में पूर्ण बहुमत की प्रबल जीत और निचले सदन तथा मंत्रिमंडल की नियुक्ति के बाद पूरी कैबिनेट तेज़ गति से अपने अपने कार्यों में लग गई थी। इस जीत के बाद संसद में भाजपा अध्यक्ष का यह पहला विधेयक होगा।
विधेयक को पेश करने के बाद अमित शाह इसके महत्व के बारे में बताएंगे। आपको बता दें कि इस विधेयक को पहले अध्यादेश के रूप में लागू किया गया था। 28 फरवरी को इस अध्यादेश को केंद्रीय कैबिनेट और राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद से मंज़ूरी मिली थी। यह अध्यादेश जम्मू कश्मीर में के लोगों राहत की सांस देगा।
इस विधेयक का उद्देश्य आर्थिक रूप से परेशान लोगों को 10 प्रतिशत आरक्षण प्रदान करने वाले अध्यादेश की जगह लेना है। यह विधेयक जम्मू-कश्मीर के उन परिवारों के लिए है जोकि आर्थिक रूप से परेशान हैं। इस विधेयक के मुताबिक किसी भी जाति, धर्म, और मज़हब के तरुण को राज्य सरकार की नौकरियां दिलवाने में मदद करेगा।
जनवरी 2019 में 103वें संविधान-संशोधन के जरिये यह अध्यादेश पास किया गया था जिसका उद्द्देश्य देश के बाकी लोगों को 10 प्रतिशत आरक्षण देना था और वह इसीलिए लागू किया गया था। गृह मंत्री इस विधेयक को लेकर खासा तौर पर गंभीर हैं और इस विधेयक को काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है।