वॉशिंगटन। लद्दाख के गलवान में धोखे से 20 भारतीय जवानों को मारने वाला चीन अब्द दुनिया में अलग थलग पड़ता नजर आ रहा है। अब नाटो ने भी चीन की तरफ आंखें तरेरनी शुरू कर दी हैं। नाटो ने कहा है कि चीन नाटो सेनाओं के रडार पर है और उसके हर कदम पर बारीक नज़र रखी जा रही है। नाटो में अमेरिका के स्थायी प्रतिनिधि बैली हचिसन ने कहा कि चीन अपने आक्रामक रवैये के चलते नाटो के रडार पर आया है और इससे पहले संगठन ने कभी उसे इतना बड़ा खतरा नहीं माना था।
चीन एक शांतिपूर्ण साझीदार, एक अच्छा व्यापार सहयोगी हो सकता था, लेकिन वह इस समय ऐसा प्रतीत नहीं हो रहा है। मुझे लगता है कि नाटो सहयोगी इस पर नजर रख रहे हैं और इस बात का आकलन कर रहे हैं कि चीन क्या कर रहा है।’’
हचिसन ने ताइवान, जापान और भारत के खिलाफ चीन के आक्रामक एवं उकसाने वाले कदमों पर कहा, ‘‘वह हमारी रडार पर है और मुझे लगता है कि ऐसा होना चाहिए क्योंकि हमें जोखिम का आकलन करना चाहिए। हमें सबसे अच्छा होने की उम्मीद करनी चाहिए, लेकिन सबसे खराब के लिए तैयार रहना चाहिए।’’ यह पूछे जाने पर कि क्या वास्तविक सैन्य संघर्ष का खतरा निकट है, उन्होंने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि नाटो इस मामले में अब पूर्व की ओर देख रहा है।’