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पीएम मोदी का अर्थव्यवस्था में वित्तीय बाजारों की भूमिका पर जोर 

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रायगढ़/मुंबई| प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को भारतीय अर्थव्यवस्था के विकास में वित्तीय बाजारों की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर दिया, लेकिन उन्होंने साथ ही चेतावनी भी दी कि अगर इन्हें सही प्रकार से विनियमित नहीं किया गया, तो इससे नुकसान भी हो सकता है। साथ ही प्रधानमंत्री नोटबंदी के केंद्र सरकार के फैसले का पुरजोर समर्थन करते हुए इसे भ्रष्ट लोगों के खिलाफ लड़ाई करार दिया और कहा कि देश की 125 करोड़ जनता के सहयोग से यह लड़ाई जीत हासिल होने तक जारी रहेगी और सरकार अल्पकालिक लाभ के लिए फैसले नहीं लेगी और देश के हित में कठिन निर्णय लेने से भी नहीं डरेगी।

मोदी भारतीय वायुसेना के एक विमान से महाराष्ट्र के दिनभर के दौरे पर यहां पहुंचे।

मोदी छत्रपति शिवाजी महाराज अंतर्राष्ट्रीय हवाईअड्डे पर दोपहर पहुंचे, जहां महाराष्ट्र के राज्यपाल सी. विद्यासागर राव, मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस और कई अन्य शीर्ष अधिकारियों ने उनकी अगुवाई की।

रायगढ़ में शेयर बाजार नियामक ‘भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड’ (सेबी) द्वारा संचालित ‘नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ सिक्योरिटीज मार्केट्स’ (एनआईएम) के नए परिसर का उद्घाटन करते हुए मोदी ने कहा कि भारत का अच्छी तरह विनयमित प्रतिभूति बाजारों के लिए अच्छा नाम है और ये प्रभावी ढंग से काम करें, इसके लिए प्रतिभागियों को अच्छी तरह वाकिफ रहने की जरूरत है।

एनआईएम का उद्घाटन करने के बाद मोदी ने कहा, “सरकार स्टार्ट-अप्स को बढ़ावा देने के लिए बेहद उत्सुक है..स्टार्ट-अप प्रणाली के लिए शेयर बाजार बेहद महत्वपूर्ण है। वित्तीय बाजार आधुनिक अर्थव्यवस्था में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। वे बचत जुटाने में मदद करते हैं। वे बचत को उत्पादक निवेश की दिशा में लगाते हैं।”

मोदी ने कहा कि इतिहास गवाह है कि वित्तीय बाजारों को अगर ठीक से विनियमित नहीं किया गया, तो ये नुकसान भी पहुंचा सकते हैं। उन्होंने कहा, “व्यापार के इलेक्ट्रॉनिक माध्यम के प्रसार और डिपॉजिटरीज के प्रयोग ने हमारे बाजारों को अधिक पारदर्शी बना दिया है। हमारे बाजारों को साबित करना चाहिए कि वे हमारी विशाल आबादी को फायदा पहुंचाने वाली परियोजनाओं के लिए सफलतापूर्वक पूंजी जुटा सकते हैं।” उन्होंने कहा कि दूसरी बात यह है कि बाजारों को समाज के बड़े वर्ग यानी किसानों को लाभान्वित करना चाहिए।

मोदी ने आग्रह किया, “(शेयर बाजारों की) सफलता का सही मापदंड गांवों में उसके प्रभाव में है, दलाल स्ट्रीट या लुटियन्स दिल्ली में नहीं है। सेबी को किसानों के लाभ के लिए ई-नाम (इलेक्ट्रॉनिक नेशनल एग्रीकल्चरल मार्केट) जैसे हाजिर बाजारों और डेरिवेटिव्ज बाजारों को जोड़ने पर काम करना चाहिए।” रायगढ़ से प्रधानमंत्री मुंबई पहुंचे, जहां उन्होंने मरीन ड्राइव तट से करीब 1.5 किलोमीटर दूर अरब सागर में बनने जा रहे शिवाजी स्मारक और प्रतिमा के लिए ‘भूमिपूजन’ किया और विभिन्न परियोजनाओं का शिलान्यास करने के बाद बांद्रा कुर्ला कॉम्प्लेक्स में एक जनसभा को संबोधित किया।

जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि देश की मौजूदा केंद्र सरकार ने सत्ता संभालने के साथ ही भ्रष्टाचार के खिलाफ जंग शुरू कर दी थी, लेकिन आठ नवंबर को 500 और 1000 रुपये के पुराने नोटों को अमान्य घोषित कर भ्रष्ट और काला धन रखने वाले लोगों पर बड़ा हमला किया गया। प्रधानमंत्री ने कहा, “मैंने वादा किया है कि देश की आम जनता को 50 दिनों तक नोटबंदी के कारण परेशानी झेलनी पड़ेगी। उसके बाद आम नागरिकों की परेशानी तो कम हो जाएगी, लेकिन उन चंद लोगों की परेशानी बढ़ जाएगी जो भ्रष्टाचारी हैं और जिन्होंने काला धन जुटा रखा है।”

प्रधानमंत्री ने एकबार फिर ऐसे लोगों से आगे आकर कर चुकाकर देश की 125 करोड़ ईमानदार जनता में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया। उन्होंने कहा, “यह देश में भ्रष्ट लोगों के खात्मे की शुरुआत है। सही रास्ते पर लौट आइए और कानून का सम्मान करिए। मैं आश्वासन देता हूं कि आपको फांसी पर नहीं लटकाया जाएगा।”

प्रधानमंत्री ने कहा कि लोगों को नोटबंदी के खिलाफ गुमराह करने की भी कोशिशें की गईं, लेकिन लोगों ने विवेक से काम लिया और फैलाई जा रही अफवाहों को दरकिनार कर दिया और सरकार द्वारा राष्ट्रहित में उठाए गए कदम को पूरे दिल से स्वीकार किया। इस दौरान उन्होंने कई बड़ी परियोजनाओं का उद्घाटन किया, जिनमें मुंबई ट्रांस हार्बर लिंक, मेट्रो रेल की दो नई लाइनों का निर्माण और कई सड़क परियोजनाएं शामिल थीं, जिनकी कुल लागत 106,000 करोड़ रुपये है।

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Dileep Kumar
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