लखनऊ| चार दिन पहले सरयू एक्सप्रेस में घायल मिली महिला सिपाही का इलाज लखनऊ केजीएमयू के ट्रॉमा सेंटर में चल रहा है। सोमवार को यूपी के प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद और SDG क़ानून व्यवस्था प्रशांत कुमार महिला सिपाही को देखने अस्पताल पहुंचे।
प्रशांत कुमार ने कहा कि महिला सिपाही की स्थिति पहले से बेहतर है और लगातार सुधार हो रहा है। महिला सिपाही बोलने की स्थिति में आएगी तो उससे बातचीत की जाएगी। अभी तक रेप जैसी वारदात के कोई सबूत नहीं मिले हैं। हर पहलू पर जांच की जा रही है। कोर्ट के जो भी निर्देश मिले हैं उनका पालन किया जाएगा। मामले का जल्द खुलासा किया जाएगा। इस मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने रविवार रात को सुनवाई की और सभी जिम्मेदारों को सोमवार को जवाबों के साथ तलब होने को कहा है।
जानकारी के मुताबिक महिला हेड कांस्टेबल की ड्यूटी अयोध्या सावन मेले में लगी हुई थी। वह मनकापुर से सरयू एक्सप्रेस ट्रेन से अयोध्या आ रही थी। इसी बीच उसके साथ हैवानियत की गई है| उसके शरीर और चेहरे पर चाकू के कई निशान मिले थे। घायल सिपाही हनुमानगढ़ी पर तैनात थी। चेहरे की बाईं ओर 15 से ज्यादा टांके आई ब्रो सहित चेहरे पर लगे थे। ज्यादा खून बहने से हालत गंभीर हो गई थी। सुबह 4 बजे अयोध्या जीआरपी ने महिला आरक्षी को घायल अवस्था में ट्रेन से उतारा।
महिला हेड कांस्टेबल की फोटोज और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गई लोगों ने उसके साथ गैंगरेप की आशंका जैसी खबरें चला दीं। हालांकि हेड कांस्टेबल के भाई और पुलिस इस तरह की खबरों को फर्जी बता चुके हैं। महिला हेड कांस्टेबल के भाई ने इस पूरे मामले में कहा है कि उनकी बहन के साथ दुष्कर्म की घटना नहीं हुई है, कुछ मीडिया संस्थान और सोशल मीडिया यूजर्स इस तरह की खबरें चला रहे हैं जो कि गलत हैं। इस तरह की खबरें उनकी और उनके परिवार की छवि धूमिल कर रही हैं। उन्होंने बताया कि उनकी बहन का इलाज फिलहाल लखनऊ ट्रॉमा सेंटर में इलाज चल रहा है।