RegionalUttarakhand

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री के साथ सभी कैबिनेट मंत्रियों ने किया रामलला का दर्शन

अयोध्या। रामलला के दरबार में अपनी हाजिरी लगाने अयोध्या पहुंचे उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि यह सुखद पल हम लोगों को भगवान राम की कृपा से मिले हैं। रामलला को देख कर मेरे मन में भावुकता होती थी, किन्तु आज प्रभु श्री राम को देखकर प्रसन्नता हो रही है। हम गौरव की अनुभूति कर रहे हैं। हम मंत्रीमंडल सहयोगियों के साथ रामलला के दर्शन के लिए आए हैं। यह हम लोगों के लिए बहुत सौभाग्य की बात है।

उतराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि रामलला अपने जन्म स्थान पर फिर से 500 वर्षों के बाद विराजमान हुए हैं। राम युग की फिर से शुरुआत हुई है। यह हम लोग के लिए बहुत शगुन की बात है कि आज हम भगवान राम लला के दर्शन करने आए हैं। भगवान राम सब पर कृपा करें और देश में सुख शांति रहे। हमारे प्रदेश व देश की हर प्रकार से उन्नति हो।

उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से हमने अनुरोध किया है कि जमीन हमें यहॉं अगर जल्दी जमीन दे देंगे तो हमारा एक सदन यहां पर बन जाएगा। आने जाने वाले लोगों का एक परस्पर संबंध बना रहेगा। उत्तराखंड देवभूमि है, हमारे यहां से मां सरयू निकलकर यहां पहुंचती हैं। रघुवर मंदिर देव प्रयाग में है, जहां श्रीराम ने पितृ यज्ञ किया था। हमारा श्रीराम से बहुत गहरा संबंध है। उत्तराखंड के लोग हमेशा यहां आएंगे।

एयरपोर्ट पर हुआ भव्य स्वागत

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी मंगलवार को कैबिनेट मंत्रियों के साथ अयोध्या पहुंचे। उन्होंने रामलाल का दर्शन कर आशीर्वाद प्राप्त किया। सभी लोग रामलला का दर्शन कर काफी खुश व उत्साहित दिखे। जय श्रीराम के नारों से मंदिर गूंज उठा। मंदिर ट्रस्ट की ओर से सभी लोगों को प्रसाद दिया गया। अयोध्या एयरपोर्ट पर कलाकारों ने सांस्कृतिक कार्यक्रम की प्रस्तुति से मुख्यमंत्री धामी का स्वागत किया। उन पर फूल बरसाए गए व तिलक किया गया। पुष्कर सिंह धामी प्रातः देहरादून एयरपोर्ट से स्टेट प्लेन से अयोध्या के लिए रवाना हुए थे। उनके साथ उत्तराखंड के कैबिनेट मंत्री रेखा आर्य, सुबोध उनियाल, धन सिंह रावत, सतपाल महाराज, प्रेम चन्द्र अग्रवाल व राज्य सभा सांसद नरेश बंसल सहित अन्य मंत्री भी आए थे। वहीं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर उत्तराखंड प्रदेश से आए अतिथियों की सुरक्षा व्यवस्था के चाक-चौबंद इंतजाम किए गए थे।

=>
=>
loading...
BRIJESH SINGH
the authorBRIJESH SINGH