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ट्रंप, मर्केल ने नाटो के बुनियादी महत्व को स्वीकारा

डोनाल्ड ट्रंप, एंजेला मर्केल, फोन पर बातचीत, ट्रांसअटलांटिक संबंधों की मजबूती, उत्तरी अटलांटिक संधि संगठनdonald trump angela merkel
डोनाल्ड ट्रंप, एंजेला मर्केल, फोन पर बातचीत, ट्रांसअटलांटिक संबंधों की मजबूती, उत्तरी अटलांटिक संधि संगठन
donald trump angela merkel

वाशिंगटन| अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्केल ने फोन पर बातचीत के दौरान ट्रांसअटलांटिक संबंधों की मजबूती के लिए उत्तरी अटलांटिक संधि संगठन (नाटो) के बुनियादी महत्व को स्वीकार किया।

व्हाइट हाउस के एक बयान के हवाले से एफे न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक, नाटो को अप्रासंगिक कहने वाले ट्रंप और जर्मनी की चांसलर मर्केल ने शनिवार को संगठन को ट्रांसअटलांटिक संबंधों और उत्तर अटलांटिक समुदाय में शांति और स्थिरता कायम रखने के लिए महत्वपूर्ण बताया।

अधिकारी ने कहा, “दोनों नेताओं ने माना कि नाटो के लिए 21वीं सदी के खतरों से निपटने में सक्षम होना जरूरी है। उन्होंने साथ ही स्वीकार किया कि यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि सभी साझेदार हमारी संयुक्त सुरक्षा के लिए सैन्य क्षमताओं के वित्त पोषण में अपना उचित योगदान करें।”

ट्रंप ने पिछले साल अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव प्रचार के दौरान कई बार नाटो को अप्रासंगिक कहा था। उन्होंने हाल ही में यूरोपियाई मीडिया को दिए दो साक्षात्कारों में अपने इस विचार को फिर से दोहराया।

ट्रंप और मर्केल ने शनिवार को आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में पहले से ही जारी सहयोग को और मजबूत करने और मध्य पूर्व और उत्तरी अफ्रीका के संघर्षपूर्ण क्षेत्रों में स्थिरता कायम करने की दिशा में काम करने की जरूरत पर बल दिया।

ट्रंप और मर्केल ने रूस और यूक्रेन के संकट के बारे में भी बात की और दोनों देशों में शांति और सुरक्षा कायम करने के लिए जर्मनी और अमेरिका के बीच नजदीकी सहयोग की जरूरत पर सहमति जताई।

ट्रंप ने शनिवार को जर्मनी के शहर हैमबर्ग में आगामी जुलाई में होने जा रहे विकसित और उभरते हुए देशों के जी20 शिखर सम्मेलन में शामिल होने के मर्केल के आमंत्रण को भी स्वीकार कर लिया।

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