दिल्ली । जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) में देश-विरोधी नारेबाजी का विवाद जारी और अफजल गुरू के समर्थन में आयोजित कार्यक्रम मामले में दिल्ली पुलिस ने देशद्रोह की एफआईआर तो दर्ज कर ली है, लेकिन जांच स्पेशल सेल या एनआईए कर सकती है। इस मामले में पुलिस आयुक्त बीएस बस्सी का कहना है कि किसी भी केस को दर्ज करने के बाद दिल्ली पुलिस उसकी जांच करने में पूरी तरह सक्षम है। मामला चूंकि देशद्रोह से जुड़ा है, ऐसे में इसकी जानकारी एनआईए को भी दे दी गई है।
देशद्रोह और आतंकवाद से निपटने के लिए ही एनआईए का गठन किया गया है। इस मामले में मुकदमा देशद्रोह के तहत दर्ज किया गया है। ऐसे में एनआईए को जानकारी देना जरूरी है। एनआईए ही तय करेगी कि जांच पुलिस करे या फिर वह स्वयं। पुलिस उपायुक्त ने पत्र में लिखा है कि जेएनयू मामले में छात्रों पर आतंकवादियों से संबंध होने के आरोप लगे हैं
वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि जो भी केस देशद्रोह के अंतर्गत दर्ज होते हैं, उसकी जानकारी भारत सरकार के जरिये एनआईए को भी देनी होती है। अब सरकार तय करेगी कि इसकी जांच दिल्ली पुलिस ही करेगी या एनआईए। फिलहाल पूरे मामले की जांच दक्षिण जिला पुलिस ही कर रही है। जेएनयू परिसर में देश विरोधी नारे लगाने के आरोपी आठ छात्रों में से सात को पूछताछ के लिए बुलाया है। एक आरोपी कन्हैयालाल को पुलिस गिरफ्तार कर चुकी है। पुलिस का कहना है कि इस मामले में कन्हैयालाल भी शामिल है।