हैदराबाद। हैदराबाद में 8 नवंबर के बाद से करोड़ों के पुराने नोटों से सोने की खरीदारी का चौंकाने वाला मामला सामने आया है। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की जांच में 500 और 1000 रुपए के पुराने नोटों से 2700 करोड़ रुपए के सोने के बिस्किटों की खरीदारी की बात पता चली है। सोने के बिस्किट खरीदने वाले शख्स गायब बताए जा रहे हैं।
मीडिया रिपोटर्् के मुताबिक हैदराबाद में इस दौरान करीब आठ हजार किलो सोना आयात किया गया था। ईडी के मुताबिक नोटबंदी के ऐलान के बाद सोने का इस्तेमाल कालाधन रखने वाले लोगों ने अपने पैसे को सफेद बनाने के मकसद से किया है।
हैदराबाद के मुसद्दीलाल ज्वैलर्स के मामले में ईडी के अधिकारियों को सोने की बिक्री में गड़बड़ी मिली है। मुसद्दीलाल ज्वैलर्स का दावा है कि उसने अग्रिम भुगतान के आधार पर 8 नवंबर की रात तक 5,200 ग्राहकों को सोने की बिक्री की थी। उनका दावा है कि उन्होंने 100 करोड़ रुपए का सोना बेचा। जांच के दौरान ईडी ने यह भी पाया है कि सबूत मिटाने के मकसद से दुकान में लगे सीसीटीवी कैमरे की फुटेज को भी डिलीट करने की कोशिश की गई।
यही नहीं, एक दिसंबर से 10 दिसंबर तक 1500 करोड़ रुपये के सोने का फिर आयात किया गया। नोटबंदी के बाद से सर्राफा बाजार में खासी तेजी आई और हैदराबाद के सर्राफा कारोबारियों और ज्वेलर्स के पास लोग धड़ल्ले से सोना खरीदने पहुंचने लगे।
गौरतलब है कि हैदराबाद में सोना डायमंड इंडिया, एमएमटीसी, एमडी ओवरसीज लिमिटेड, स्टेट ट्रेडिंग कार्पोरेशन जैसे एक्सिस, बैंक ऑफ नोवा स्कोटिया, इंडस इंड, यैस बैंक, आईसीआईसीआई, एसबीआई, एचडीएफसी और कोटेक महेंद्रा के माध्यम से आयात किया जाता है।