लखनऊ। नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध में दिल्ली की शाहीन बाग की तर्ज पर लखनऊ के घंटाघर में सैकड़ों में संख्या में महिलाएं जुटी हैं। महिलाओं ने कहा कि जब तक मांगें नहीं मानी जाती तब तक नहीं हटेंगे। घंटाघर पर भारी संख्या में पुलिसवाले पहुंचे, प्रदर्शनकारियों को हटाने की कोशिश, लेकिन मिली नाकामी।
शुक्रवार दोपहर तीन बजे दिन से सीएए और एनआरसी के विरोध में मुस्लिम महिलाएंं अपने बच्चों के साथ धरने पर बैठी हैं। रातभर कोहरे और ठंडी में महिलाओं ने नारेबाजी की। हालांकि, रात में प्रदर्शनकारी महिलाओं की संख्या कम रही, लेकिन सुबह होते ही एक बार फिर से भीड़ एकत्र होने लगी। सुबह घंटाघर पर ही महिलाओं ने बिस्कुट और चाय का नाश्ता किया।
इस प्रदर्शन की जानकारी मिलने पर लखनऊ के पुलिस कमिश्नर सुजीत पांडेय मौके पर पहुंचे और महिलाओं को समझाने का प्रयास किया लेकिन महिलाओं ने मांग पूरी न होने तक अपना प्रदर्शन समाप्त करने से मना कर दिया। प्रदर्शन कर रही महिलाओं ने आरोप लगाया कि उनके इस कार्यक्रम में व्यवधान डालने के लिए रात में घंटाघर की बिजली काट दी गई और जबरदस्त ठंड से बचाव के लिए उन्हें तंबू भी नहीं लगाने दिया गया। बहरहाल इन मुश्किलों के बावजूद महिलाएं और बच्चे वहीं पर बैठे रहे और उनका प्रदर्शन सुबह भी जारी रहा।