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आखिर क्यों आती हैं ठंड में ज्यादा सूसू, जानें कारण

लखनऊ। अक्सर आपने यह देखा होगा कि सर्दियों में बार—बार टॉयलेट जाना पड़ता है। ठंड में स्वेटर, कंबल और रजाई के साथ सबकी पक्की यारी हो जाती है। रात में रजाई में घुसने के साथ ही बस ये सोचना के जल्दी से रजाई गर्म हो जाएं और बस फिर कोई भी इसमें से निकलने को ना कह दें। और अगर ऐसे में कोई रजाई में से निकल कर कोई काम करने को कह दे, तो बस फिर तो गुस्सा आना स्वाभाविक है।

वैसे अगर देखा जाए तो काम को टाला जा सकता है पर अगर कोई अत्यधिक जरूरी काम जाए जाए तो उसे कैसे टाला जा सकता है जैसे नेचर कॉल यानी की टॉयलट जाने की, तो उसके लिए तो ना चाहते हुए भी रजाई से बाहर आना ही पड़ेगा।

पर ठंड में बार-बार टॉयलट जाना पड़ता है तो एक सवाल दिमाग में ज़रूर कौंधता है कि आखिर ठंड में बार-बार टॉयलट क्यों जाना पड़ता है? जी हां, ठंड के मौसम में ये सवाल भी बार-बार दिमाग में आता है कि आखिर ठंड में बार-बार टॉयलट क्यों आता है?

वैसे आपको बता दूं कि ये बेवजह नहीं होता बल्कि इसके पीछे बहुत ही खास वजह है जो शायद आपको नहीं पता होगी। जैसे हमारे शरीर में सब कुछ अपने एक प्रोसेस के अनुरूप होता है, जब शरीर को ऊर्जा होती है तो भूख लगने लगती है, जब थकान ज्यादा हो जाती है तो नींद आने लगती है, प्यास लगना इस बात का इशारा होता है कि शरीर को पानी की ज़रूरत है। इसी तरह निवृत्त होने के लिए भी हमारी बॉडी सिग्नल देती है।

ऐसे में सवाल ये उठता है कि क्या ठंड के मौसम में पेशाब ज्यादा आने के पीछे भी कोई ऐसी ही वजह है तो मै आपको बता दूं कि इसके पीछे की वजह बहुत खास है।

दरअसल, जब हमे ठंड लगती है तो बॉडी का तापमान सामान्य की तुलना में गिरने लगता है। ऐसे में शरीर में गर्मी को बनाए रखने के लिए हमारी बॉडी शरीर के कुछ हिस्सों में, जैसे कि हथेली और पैर के तलवों में खून का फ्लो कम कर देती है।

अब जब ब्लड के फ्लो का एरिया पहले से कम हो जाता है तो ब्लड प्रेशर बढ़ने लगता है। क्योकि ब्लड का अमाउंट तो सेम होता है लेकिन एरिया कम हो जाता है, इसलिए ब्लड प्रेशर बढ़ने लगता है।

बढ़ते ब्लड प्रेशर से शरीर को सुरक्षित रखने के लिए हमारी किडनी को सामान्य से ज्यादा काम करना पड़ता है। और इसलिए हमारी किडनी ब्लड को प्यूरिफाई करने का काम तेज़ कर देती है।

अब ये तो स्पष्ट है कि अगर खून प्यूरिफाई ज्यादा होगा तो अपशिष्ट पानी भी ज्यादा निकलेगा। यही अपशिष्ट पानी गॉल ब्लैडर में जमा हो जाता है और इसी वजह से ठंड में बार-बार टॉयलट आती है। तो ये हुई पूरी थ्योरी। अब कुछ लोग ऐसे में पानी पीना छोड़ देते हैं जिससे की टॉयलट कम आएं लेकिन ये पूरी तरह से गलत है। ऐसा नहीं करना चाहिए।

क्योकि अगर आप पानी पीना छोड़ देते हैं तब भी किडनी उसी तरह अपना काम करती है लेकिन ऐसे में पेशाब पीली आने लगती है जो स्वास्थ्य के लिए अच्छा नहीं है।

तो अब आप तो समझ ही गए होंगे कि इन वजहों से ठंड में बार-बार टॉयलट आता है – तो अब आगे से कोई पूछे कि ठंड में सूसू ज्यादा क्यों आती है तो बिना देर किए उन्हें ये जानकारी बता दीजिएगा ताकि उनका भी ज्ञान बढ़े। वह भी जान जाएं कि सही कारण क्या है।

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Dileep Kumar
the authorDileep Kumar