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कैंसर कोशिकाएं नष्ट कर सकती है अनाज बचाने वाली दवा

cancerन्यूयार्क | आमतौर पर अनाजों को कीड़ों से बचाने के लिए इस्तेमाल होने वाली दवा कैंसर और घातक एंटीबायोटिक प्रतिरोधी बैक्टीरिया से उत्पन्न रोगों की चिकित्सा में कारगर हो सकती है। एक नए शोध में यह बात सामने आई है। शोधार्थियों ने इसके लिए ‘नाइसिन’ के कैंसररोधी गुणों पर अपना शोध केंद्रित किया था। नाइसिन एक रंगहीन, स्वादहीन चूर्ण है, जोकि व्यापक रूप से अनाजों को संरक्षित करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है।

मिशिगन यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर योवन कपिला के अनुसार, “नाइसिन का खाद्य संरक्षण के अलावा भी बेजा उपयोग किया जा सकता है।” इस शोध में वैज्ञानिकों ने चूहों को नाइसिन युक्त आहार दिया। चूहों को प्रत्येक चरण में नाइसिन की अलग-अलग मात्राएं दी गईं। शोधार्थियों ने देखा कि नौ सप्ताह के अंतराल पर नाइसिन युक्त मिल्कशेक का सेवन करने से उनके दिमाग की 70-80 प्रतिशत ट्यूमर कोशिकाएं मर गईं।

शोधार्थियों का कहना है कि नाइसिन युक्त आहार खासकर 800 मिलीग्राम प्रति किलोग्राम के हिसाब से नाइसिन का सेवन कैंसर कोशिकाओं को मारने में सक्षम है। नाइसिन घातक बैक्टीरिया, जैसे एंटीबायोटिक रेसिस्टेंट ‘एमआरएसए’ से भी लड़ता है। कपिला कहते हैं, “यह निष्कर्ष अपर्याप्त हैं और केवल चूहों पर ही आधारित हैं। मानवों पर इसके इस्तेमाल के बारे में सोचना जल्दबाजी होगी।” यह शोध पत्रिका ‘एंटीमाइक्रोबॉयल कीमोथेरेपी’ के आगामी अंक में प्रकाशित किया जाएगा।

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