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बिहार : प्रधानमंत्री के अपमान पर विधानसभा में गतिरोध जारी

 

पटना| बिहार के मंत्री अब्दुल जलील मस्तान द्वारा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को ‘डकैत’ कहे जाने और कार्यकर्ताओं को उनकी तस्वीर पर जूते मारने के लिए उकसाए जाने से बिफरे विपक्ष ने तीसरे दिन शुक्रवार को भी बिहार विधानमंडल के दोनों सदनों में हंगामा जारी रखा, जिससे दोनों सदनों की कार्यवाही बाधित रही। बिहार विधानसभा में बजट सत्र के दौरान शुक्रवार सुबह जैसे ही कार्यवाही शुरू हुई, विपक्षी सदस्य मंत्री की बर्खास्तगी की मांग को लेकर हंगामा करने लगे। सत्ताधारी महागठबंधन के सदस्यों ने भी भाजपा विधायक लाल बाबू गुप्ता की मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के खिलाफ विवादास्पद टिप्पणी को लेकर पलटवार किया और गुप्ता की सदस्यता खत्म करने की मांग की।

दरभंगा जिले के केवटी विधानसभा क्षेत्र से राजद विधायक फराज फातमी ने विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार चौधरी से पूर्वी चंपारण जिला के चिरैया विधानसभा क्षेत्रा से भाजपा विधायक लाल बाबू गुप्ता के खिलाफ शिकायत की। इस दौरान विधानसभा अध्यक्ष ने कई बार सदस्यों से शांत रहने की अपील की, लेकिन हंगामा जारी रहा। अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही दोपहर दो बजे और फिर शाम 4़ 45 बजे तक के लिए स्थगित कर दी। शाम को हंगामे के बीच विधानसभा की कार्यवाही कुछ समय के लिए चली।

विधान परिषद में भी यही स्थिति रही। विधान परिषद की कार्यवाही हंगामे के कारण दोपहर दो बजे तक, उसके बाद सोमवार तक के लिए स्थगित कर दी गई। बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष प्रेम कुमार ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अपनी सरकार बचाने में लगे हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री से इस मामले में चुप्पी तोड़ प्रधानमंत्री का अपमान करने वाले मंत्री को बर्खास्त करने की मांग की। उन्होंने कहा कि जब तक मंत्री को मंत्रिमंडल से बर्खास्त नहीं किया जाता, तब तक विरोध जारी रहेगा।

इधर, लाल बाबू गुप्ता ने खुद पर लगाए जा रहे आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, “मैंने सदन में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के खिलाफ कुछ नहीं कहा है। सत्तापक्ष मुद्दे को भटकने के लिए ये आरोप लगा रहा है।” उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव ने विपक्ष पर सदन नहीं चलने देने का आरोप लगाते हुए कहा कि उन्हें सिर्फ हंगामा कर सदन का समय बर्बाद करना है।

मंत्री मस्तान पर पूर्णिया में 22 फरवरी को कांग्रेस के कार्यक्रम में प्रधानमंत्री को ‘डकैत’ और ‘नक्सली’ कहने और कार्यकर्ताओं को उनकी तस्वीर को जूते और चप्पल से मारने के लिए उकसाने का आरोप है। इस कार्यक्रम का वीडियो वायरल होने के बाद से विपक्ष मंत्री की बर्खास्तगी पर अड़ा है।

पड़ोसी राज्य उत्तर प्रदेश में भी इन दिनों प्रधानमंत्री का नित अपमान हो रहा है। कोई उन्हें ‘झूठ बोलने वाला’, ‘जुमलेबाज’ तो कोई ‘आतंकवादी’ कह रहा है। उधर, मध्यप्रदेश में भाजपा के मार्गदर्शक संगठन आरएसएस के एक प्रचार प्रमुख ने केरल के मुख्यमंत्री पी. विजयन का सिर काटकर लाने का फतवा जारी कर दिया है। जनता तय नहीं कर पा रही है, किसे भला माने, किसे बुरा।

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Dileep Kumar
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